Tuesday 13 January 2015

गौ- चिकित्सा -नकसीर फूटना ( Epistoxis )

नकसीर फूटना (Epistoxis)


कारण-लक्षण :- हृष्ट- पुष्ट पशुओं की नाक पर चोट लग जाने, अधिक छींके आने , धूप की गर्मी से अथवा गरम औषधियों के प्रभाव आदि कारणों से नाक की सुक्ष्म शिराएँ फट जाता हैं और ख़ून बहने लगता हैं इसी को नकसीर कहते हैं ।

१ - औषधि - सिर पर ठन्डे पानी की लगातार धार डालते रहने से रक्त जमकर नाक से ख़ून बहना बन्द हो जाता हैं ।
२ - औषधि - थोड़े से पानी में फिटकरी पीसकर ,घोलकर उसमें माजूफल घिसकर डाल लें इस पानी की बूँदें पशु के नाक में टपकाने रूई का फोहा तर करके नाक में रखने से रक्त गाढ़ा होकर नकसीर बन्द हो जाती है
३ - औषधि - चिरायता एक छटांक कुटकी और गिलोय ढाई-ढाई तौला और शक्कर २५० ग्राम , लेकर सभी को पानी में घोलकर शर्बत बनाकर नाल द्वारा पशु को पिलायें । नकसीर फूटने में इस योग का सफल प्रयोग है ।


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