Saturday 22 May 2021

रामबाण योग :- 97 -:

रामबाण योग :- 97 -:


बादाम ( वाताद ) -

आप बादाम (Almond in Hindi) जरूर खाते होंगे, क्योंकि आपको पता है कि आपको बादाम के फायदे मिलते हैं। आमतौर पर लोगों को केवल इतना ही पता होता है, लेकिन सच यह है कि बादाम एक ऐसा पौष्टिक आहार है, जिसमें स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के साथ-साथ बीमारियों की रोकथाम के भी गुण होते हैं। बादाम पुरुषों की कई बीमारियों के साथ-साथ महिलाओं को होने वाले रोगों में भी फायदेमंद होता है। बादाम का वृक्ष (Badam tree) लगभग 8 मीटर ऊंचा, और मध्यम आकार का होता है। बादाम का फूल सफेद, या हलका लाल रंग का होता है। बादाम का इस्तेमाल सूखे फल के रूप में होता है। शुरुआत में बादाम के फल का ऊपरी हिस्सा थोड़ा कोमल होता है, लेकिन कुछ पकने पर ऊपर का भाग थोड़ा कठोर हो जाता है। जब बादाम पूरी तरह तैयार हो जाता है, तो यह बहुत ही स्वादिष्ट, पौष्टिक और शक्तिवर्धक होता है। बादाम खाने के अनेक फायदे होते हैं। 
Hindi- बादाम, बदाम, English- आमण्ड या आल्मॅण्ड (Almond),Sanskrit- वाताद, वाताम, वातवैरी, सुफला, नेत्रोपमफल कहते है।

#- शारीरिक दुर्बलता - जो लोग शारीरिक रूप से कमजोर होते हैं, या अपने आप को कमजोर महसूस करते हैं, उनको 7 ग्राम भिगोए हुए बादाम, 7 ग्राम अश्वगंधा, 1/2 ग्राम पिप्पली तथा 1/2 ग्राम काली मिर्च को अच्छी तरह मिलाकर पीस लेना है। इसमें गाय का दूध, घी तथा चीनी मिला लें। इसे दिन में दो बार खाने से पहले लें। इससे फायदा होगा।

#- दुर्बलता - बादाम की गिरी (5-10 ग्राम) में, मिश्री मिलाकर सेवन करें। इसके बाद में दूध पीने से भी कमजोरी दूर होती है, और शरीर पुष्ट होता है।

#- दुर्बलता - सर्जरी या अन्य किसी तरह की दुर्घटना के बाद की कमजोरी में बादाम के फायदे मिलते हैं। इसके लिए बादाम से बने अमृतप्राश गौघृत ( 5 ग्राम ) का सेवन करें। इससे शरीर स्वस्थ होता है।

#- क्षतक्षीण - बादाम आदि द्रव्यों से निर्मित अमृतप्राशगौघृत 5 ग्राम का सेवन करने से क्षतक्षीण में लाभ होता है।

#- अरोचक , अरूचि - कई लोग भूख ना लगने, या कम भूख लगने, या फिर खाने के प्रति अरुचि जैसी समस्याओं से परेशान रहते हैं। ऐसे लोगों को बादाम खाने से लाभ होता है।

#- भूख बढ़ाना - इसके लिए बादाम को आधा दिन (12 घण्टे) तक पानी में फूला लें। इसके बाद बादाम को पानी में उबालकर, ऊपर का छिलका उतार लें। इसे चासनी में मिलाकर मुरब्बा बना लें। इसका सेवन करें। इससे भूख बढ़ती है।

#- व्यड्ग , झुर्रियां - चेहरे पर झुर्रियां होना भी आम समस्या है। पुरुष हों या महिलाएं, सभी चेहरे की झुर्रियों को ठीक करने के लिए कई उपाय आजमाते हैं, लेकिन कई बार उनको पूरी सफलता नहीं मिल पाती। ऐसे में आप बादाम का प्रयोग करें। सरसों, बादाम, वचा, तथा सेंधा नमक को पीसकर चेहरे पर लेप करें। इससे चेहरे की झुर्रियां (झाईयां) मिटती हैं। 

#- वीर्य विकार - वीर्य संबंधी विकार कई लोगों की जिंदगी को नीरस बना देता है। ऐसा भी देखने को मिलता है कि जिस किसी व्यक्ति को वीर्य संबंधित समस्याएं होती हैं, उनको पिता बनने में परेशानी होने लगती है। इससे उनकी पारिवारिक जीवन से खुशियां खत्म होने लगती है। बादाम खाने के फायदे यहां भी मिलते हैं। ऐसे लोग बादाम का इस्तेमाल कर सकते हैं। 5-10 बादाम की गिरी का सेवन नित्यप्रति करने से वीर्य विकार खत्म होते हैं। 

#- दाँत रोग - बादाम खाने के फायदों में से एक दांतों को भी ठीक करना है। आजकल वयस्क लोगों के साथ-साथ बच्चे भी दांतों से संबंधित विभिन्न समस्याओं से ग्रस्त रहते हैं। अगर आप भी दांतों के रोग से परेशान हैं, तो बादाम के छिलकों को जलाकर, भस्म बना लें। इसे दांतों पर रगड़ें। इससे दांतों से संबंधित बीमारियां ठीक होती हैं।

#- कामशक्तिवर्धना, बाजीकर्णार्थ - अनेक लोग सेक्सुअल पॉवर की कमी जैसी समस्याओं से भी परेशान रहते हैं। अक्सर ऐसा देखा जाता है कि ऐसे लोग सेक्सुअल पॉवर को बढ़ाना चाहते हैं, तो 5-10 बादाम की गिरी (Badam giri) में 1 ग्राम सोंठ, 20 ग्राम भुने चने, 1 ग्राम काली मरिच, तथा 20 ग्राम मिश्री मिला लें। इसे 5 से 10 ग्राम की मात्रा में सुबह और शाम को गाय के दूध के साथ 1 चम्मच गाय का घी मिलाकर सेवन करें। इससे कामोत्तेजना (सेक्सुअल पॉवर) में वृद्धि होती है।

#- स्वपनदोष - स्वप्न दोष एक आम समस्या है। कई लोग शर्म के कारण स्वप्नदोष का उपचार नहीं कराते हैं। इसके लिए भी बादाम का प्रयोग किया जा सकता है। 1 बादाम को भिगो लें, और इसका छिलका निकाल लें। इसे 3 ग्राम मिश्री के साथ पीस लें। इसमें 1 ग्राम गिलोय (उबालकर छाना हुआ काढ़ा), 3 ग्राम गाय का घी, तथा 2 ग्राम शहद मिला लें। इसे सुबह और शाम सेवन करें। इससे स्वप्नदोष दूर हो जाता है। 

#- स्तन्यवृद्धि - अनेक महिलाएं यह शिकायत करती हैं कि मां बनने के बाद, उनको शिशु के पीने जितना दूध नहीं हो रहा। ऐसी महिलाओं को बादाम का इस्तेमाल करना चाहिए। महिलाएं को 3-5 ग्राम बादाम के चूर्ण व 2 ग्राम सौंफ को,गाय के दूध में मिलाकर सुबह और शाम सेवन करना है व 20 ग्राम नारियल गिरी चबाने से इससे स्तनों में दूध की वृद्धि होती है। 

#- जूएँ - अधिकांश लोग बालों में जूं (जुएं) होने से परेशान रहते हैं। खासकर महिलाएं बालों में जुएं होने के कारण बराबर परेशान रहती हैं। कई बार ऐसा भी देखा गया है कि जुं हटाने के उपचार के लिए महिलाएं या पुरुष, भिन्न-भिन्न तरह की दवाइयां, या अन्य विकल्प का इस्तेमाल करते हैं, लेकिन उनको बहुत अधिक फायदा नहीं होता। ऐसे में बादाम का इस्तेमाल बहुत ही फायदेमंद हो सकता है। कड़वे बादाम को पीसकर सिर पर लेप करें। इससे सिर की जुंये (लीखें) मर जाती हैं।

#- मासिकधर्म मे दर्द - मासिक धर्म के समय दर्द होना, महिलाओं को होने वाली एक ऐसी समस्या है, जिससे प्रायः सभी महिलाएं पीड़ित रहती हैं। ऐसे में बादाम को पीसकर उसका पेस्ट बना लें। इसे योनि में रखने से मासिक धर्म के समय होने वाली पीड़ा खत्म होती है।

#- पूयमेह,सूजाक योनि रोग - सुजाक योनि से संबंधित एक रोग है। इस बीमारी में महिलाओं को छिलका रहित 7 बादाम की गिरी (Badam giri) को लेकर, उसमें 1 ग्राम सफेद चन्दन का चूर्ण, और इतनी ही मात्रा में मिश्री मिलाना है। इसे पीसकर, दिन में तीन बार जल के साथ पीना है। इससे सुजाक में लाभ होता है।

#- आंत्रशूल - पाचनतंत्र को स्वस्थ रखने में आंतों का बहुत बड़ा योगदान होता है। आंतों के स्वस्थ रहने पर पेट भी स्वस्थ तरह से काम करता है। जो लोग आंतों से संबंधित रोग से ग्रस्त हैं, उन्हें बादाम को अंजीर के साथ पीसकर खाना चाहिए। इससे हल्का विरेचन होता है तथा आंतों पीड़ा व अन्य समस्याएं ठीक होती है।

#- कास - खांसी एक बहुत ही आम परेशानी है। मौसम में बदलाव होने, या अन्य कई कारणों से लोगों को बराबर खांसी हो जाती है। अगर आप भी खांसी से परेशानी रहते हैं, तो एक चम्मच बादाम के तेल (baadam oil) का प्रयोग करें। इससे खांसी में आराम मिलता है।

#- क्षत एवं त्वक विस्फोट ( फोड़े - फुन्सीं ) - बच्चे हों या बड़े, सभी को फोड़े होते हैं। ऐसे में बादाम के बीजों को पीस लें। इसका घाव पर लेप करें। इससे घाव तथा फोड़ों में लाभ होता है। 


#- चर्मरोग - बादाम गिरी को पीसकर चर्मरोगो पर लगाने से लाभ होता है।

#- खाज- खुजली रोग - एक ऐसा रोग है, जो आसानी से ठीक नहीं होती। यह रोग अगर शरीर के उस अंग पर हो जाए, और इसे ढका ना जाय तो रोगी का घर-परिवार में मिलजुलकर रहना मुश्किल हो जाता है। इस रोग के कारण घर से बाहर निकलने में भी हिचक होती है। ऐसे में बादाम को पीसकर लगाएं। इससे खाज, खुजली आदि में लाभ होता है। 

#- नेत्राभिष्यंद , आई फ्लू - आई फ्लू में बादाम की 7 गिरी को महीन पीस लें। इसमें घी और मिश्री 5-5 ग्राम मिला लें। इसे सुबह और शाम सेवन करें। आई फ्लू व नेत्राभिष्यंद में फायदा होता है।

#- मस्तिष्क दौर्बल्य - बादाम के सेवन से मस्तिष्क स्वस्थ रहता है। दिमाग से संबंधित विकार होने पर, बादाम से बने महामयूर गौघृत (5 ग्राम) का प्रयोग करें। इससे लाभ होता है।

#- स्नायु विकार - बादाम को सिरके के साथ पीसकर लगाने से स्नायु-विकार खत्म होते हैं।

#- योषाअपस्मार , हिस्टीरिया - हिस्टीरिया की बीमारी को ठीक करने के लिए बादाम के 5-8 बीजों का नियमित सेवन करें। इससे हिस्टीरिया में फायदा होता है। 

#- गठिया व मोटापा - गठियामोटापा या शरीर के अधिक वजन, या फिर बढ़ती उम्र में होने वाली बीमारी है। गठिया होने पर शरीर के कई अंग सामान्य रूप से काम करना बंद कर देते हैं। अंगों की गतिशीलता कम हो जाती है। गठिया से ग्रस्त मरीजों को बहुत दर्द भी होता है। गठिया से परेशान लोग बादाम आदि से बनी जीवनीय गौघत का सेवन करें। इससे गठिया में लाभ होता है।


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